आज गॉधी जंयती है और स्व्च्छ भारत अभियान को भी दो वर्ष पूरे हो गए हैं। दो दिन पूर्व, 30 सितम्बर को इंडोसैन समारोह का उद्घाटन करते हुए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश को स्वच्छ बनाने के लिए स्वच्छाग्रह चलाने का मंत्र किया है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत आयोजित इस समारोह में उन्होंने सीमित संदर्भ में ही सही दो ओर बड़ी अच्छी बातें कहीं, एक स्वच्छता को लेकर हमें अपने आचरण में बदलाव लाना चाहिए और दूसरा जैविक कूडे़ कचरे से खाद बनायी जा सकती है। दूसरी ओर शहरी विकास मंत्री वैंकया नायडू के अनुसार देश में 1 लाख से ज्यादा गॉव खुले में शौच से मुक्त हो गए हैं।
भारत के पहले प्रधानमंत्री श्री जवाहरलाल नेहरू ने भी एक बार कहा था कि जब तक भारत में सब लोगों के पास शौचालय सुविधा उपलब्ध नहीं होती, वो तब तक भारत को आज़ाद नहीं मानेगे। इसी प्रंसग में राष्ट्रपिता महात्मा गॉधी जी का भी जिक्र अनायास हो आता है जिंहोने सैनिटेशन को आजादी से भी बढ़कर बताया और मैला प्रथा के विरोध में सब मानवों को अपने मैले का निपटान खुद करने के लिए भी कहा।
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